मोदी के तानाशाही तंत्र के लोकतांत्रिक गण की गणिकाएं - समसामयिक हास्य व्यंग्य


गणिका-१

आंदोलनजीवी करें 
आंदोलन 
तो कहे मोदी जी - 
"आंदोलन क्यों 
खडा आप करते हैं, 
जबकि मुझ से 
किसान नाराजगी
कुछ भी नहीं कहते हैं?"
आंदोलनजीवी करें 
न आंदोलन 
तो कहे मोदी जी - 
"आंदोलन खुद तो
खडा आप कर
नहीं सकते हैं, 
बन आंदोलनजीवी
परजीवी जमात
क्यों समर्थन आप
किसान का करते हैं?"
मोदी जी की चट,
मोदी जी की पट!
बनिये न हिटलर,
जनता है ये,
मोदी जी झटपट,
करेगी आपको ये चट!!


गणिका-२
भाजपा-संघ समर्थित 
आंदोलनजीवी परजीवी
जमात  
(उपद्रव अराजक जमात?) ने
करवाने लागू 
लोकपाल बिल 
पीएम मनमोहन का
बंगला घेरा था,
कुछ ने तो
लांघ हर दीवार
फांद हर गेट
बंगले में 
डाल लिया था डेरा!
जब आई 
बारी अपनी
गले में बंधवाने 
घंटी अपने तो
बिल्ली भई शयानी,
दिल्ली की 
सीमाओं पे गाड 
कीलें-तार कंटीले 
बता रही किसानों को 
आतंकवादी ये
बिल्ली रानी!!
- स्वामी मूर्खानंद जी "चाणक्य" 

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