मसलन:'आम आदमी पार्टी' नाम और नारा 'हाँ, मैं हूँ आम आदमी'
स्वामी अप्रतिमानन्दा जी की कविता 'हाँ मैं आम हूँ' से चुराया गया है जो ११ मई वर्ष २०१० ईस्वी में www.scribd.com पर प्रकाशित हुई थी !
अरविन्द केजरीवाल और कम्पनी ने कविता की " हाँ , मैं आम व्यक्ति हूँ " पँक्ति के "व्यक्ति" शब्द को उर्दू भाषा में बदल कर "आदमी" कर दिया और पँक्ति को बना दिया "हाँ , मैं आम आदमी हूँ"! अरविन्द केजरीवाल और कम्पनी ने पुनः कमाल दिखाया और "हाँ , मैं आम आदमी हूँ" के "हूँ" को "मैं" के बाद जोड़ कर बना दिया "हाँ , मैं हूँ आम आदमी" !
- स्वामी मूर्खानन्द जी
[फ़ोटो: www.scribd.com व गूगल के सौजन्य से]
[टिप्पणी: इस लेख में व्यक्त विचार स्तंभकार स्वामी मूर्खानन्द जी के अपने स्वयं के व्यक्तिगत विचार हैं। इन विचारों से ऑल इंडिया इंसानियत पार्टी का सहमत होना कोई अनिवार्य नहीं है। इस संबंध में न्यायिक विवादों के निपटारे हेतु दिल्ली उच्च न्यायालय ही एक मात्र विकल्प है।]
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